आचार संहिता के दौरान धरना, आंदोलन, प्रदर्शन और जाति, भाषा, धर्म के आधार पर शिविर आयोजित करने पर प्रतिबंध

आचार संहिता के दौरान धरना, आंदोलन, प्रदर्शन और जाति, भाषा, धर्म के आधार पर शिविर आयोजित करने पर प्रतिबंध

आचार संहिता के दौरान धरना, आंदोलन, प्रदर्शन और जाति, भाषा, धर्म के आधार पर शिविर आयोजित करने पर प्रतिबंध

आचारसंहिता के दौरान धरना, आंदोलन, प्रदर्शन और जाति, भाषा, धर्म के आधार पर शिविर आयोजित करने पर प्रतिबंध

पुणे, अक्टूबर (जिमाका)
आदर्श आचारसंहिता के दौरान जिले में धरना, आंदोलन, मोर्चा, प्रदर्शन, भूख हड़ताल करने पर साथ ही जाति, भाषा, धर्म पर शिविरों का आयोजन करने पर जिलादंडाधिकारी तथा जिलाधिकारी डॉ. सुहास दिवसे ने प्रतिबंधात्मक आदेश जारी किए हैं।
जिले में विधानसभा आम चुनाव की संपूर्ण प्रक्रिया शांतिपूर्ण, भयमुक्त एवं निष्पक्ष वातावरण में संपन्न कराने के उद्देश्य से भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता -2023 की धारा 163 के अंतर्गत प्रदत्त प्राधिकार के अनुसार डॉ. दिवसे ने ये आदेश जारी किए हैं।
जिला दंडाधिकारी, उपविभागीय दंडाधिकारी, तालुका दंडाधिकारी कार्यालय साथ ही जिले के सभी सरकारी, अर्धसरकारी कार्यालय, सरकारी विश्रामगृह, सार्वजनिक स्थान, सड़क पर कोई भी राजनीतिक दल, व्यक्ति, संगठन द्वारा चुनाव लड़नेवाले उम्मीदवार या उसके प्रतिनिधि या उसके शुभचिंतक द्वारा धरना आंदोलन, मोर्चा, विरोध प्रदर्शन, भूख हड़ताल करने पर चुनाव अवधि के दौरान प्रतिबंधित कर दिया गया है। साथ ही जिले में किसी भी जाति, भाषा और धर्म को लेकर शिविर आयोजित करने पर प्रतिबंध लगा दिया गया है। ये आदेश 25 नवंबर 2024 तक लागू रहेंगे। इस आदेश का उल्लंघन करनेपर लोक प्रतिनिधित्व अधिनियम 1951 में प्रावधान के अनुसार और भारतीय न्याय संहिता, 2023 की धारा 223 के प्रावधानों के तहत दंडात्मक कार्रवाई के लिए पात्र होंगे। आदेश में यह भी उल्लेखित किया गया है।

चुनाव सामग्री यातायात बाधित हो इस तरह से रखने पर रोक
जिले में विधानसभा चुनाव की प्रक्रिया के दौरान चुनाव संबंधी कोई भी सामग्री यातायात को बाधित करेगी और दुर्घटना का कारण बनेगी, ऐसा लगाने पर जिलाधिकारी तथा जिला दंडाधिकारी डॉ. सुहास दिवसे ने प्रतिबंध के आदेश जारी किए हैं।
संपूर्ण चुनाव प्रक्रिया को शांतिपूर्ण, भयमुक्त एवं निष्पक्ष वातावरण में संपन्न कराने के उद्देश्य से राजनीतिक दल, चुनाव लड़ रहे उम्मीदवार या उनके प्रतिनिधि या उनके शुभचिंतक चुनाव संबंधी पोस्टर, बैनर, पॉम्प्लेट्स, कटआउट, होर्डिंग, मेहराब आदि से यातायात बाधित और दुर्घटना होगी इस पद्धति से लगाने पर प्रतिबंध लगा दिए गए हैं।
ये आदेश 25 नवंबर 2024 तक लागू रहेंगे। आदेश का उल्लंघन करनेपर संबंधित लोक प्रतिनिधित्व अधिनियम 1951 में प्रावधान के अनुसार और भारतीय न्याय संहिता, 2023 की धारा 223 के प्रावधानों के तहत दंडात्मक कार्रवाई के लिए पात्र होंगे। आदेश में यह भी उल्लेखित किया गया है।

निजी, सार्वजनिक स्थानों पर चुनाव प्रचार सामग्री लगाने पर प्रतिबंध
विधानसभा चुनाव अवधि के दौरान निजी व्यक्तियों और सार्वजनिक प्राधिकरणों के परिसर में संबंधित की अनुमति के बिना चुनाव प्रचार सामग्री लगाने को जिलाधिकारी तथा जिला दंडाधिकारी डॉ. सुहास दिवसे ने प्रतिबंध के आदेश जारी किए हैं।
जिले में विधानसभा चुनाव की संपूर्ण प्रक्रिया को शांतिपूर्ण, भयमुक्त एवं निष्पक्ष वातावरण में संपन्न कराने के उद्देश्य से राजनीतिक दलों, चुनाव लड़नेवाले उम्मीदवारों या उनके प्रतिनिधियों या उनके शुभचिंतकों द्वारा चुनाव प्रचार के लिए ध्वज लाठियाँ लगाना, कपड़े का बोर्ड लगाना, दीवारों पर पोस्टर लगाना, नारे लिखना आदि का किसी भी व्यक्ति के निजी स्थान, भवन, परिसर, दीवार आदि पर संबंधित मालिक की अनुमति और संबंधित सार्वजनिक प्राधिकारी की अनुमति के बिना उपयोग करने पर प्रतिबंध लगा दिए गए हैं।
ये आदेश 25 नवंबर 2024 तक लागू रहेंगे। साथ ही आदेश का उल्लंघन करनेपर संबंधित लोक प्रतिनिधित्व अधिनियम 1951 में प्रावधान के अनुसार और भारतीय न्याय संहिता 2023 की धारा 223 के प्रावधानों के तहत दंडात्मक कार्रवाई के लिए पात्र होंगे। आदेश में यह भी उल्लेखित किया गया है।

सार्वजनिक स्थानों के निकट अस्थायी स्वरूप में पार्टी कार्यालय स्थापित करने पर प्रतिबंध
विधानसभा आम चुनाव की आचारसंहिता अवधि के दौरान जिले में धार्मिक स्थलों, अस्पतालों या शैक्षणिक संस्थानों और सार्वजनिक स्थानों के पास अस्थायी पार्टी कार्यालय स्थापित करने पर जिलाधिकारी तथा जिला दंडाधिकारी डॉ. सुहास दिवसे ने प्रतिबंध के आदेश जारी किए हैं। संपूर्ण चुनाव प्रक्रिया को शांतिपूर्ण, भयमुक्त एवं निष्पक्ष वातावरण में संपन्न कराने की दृष्टि से ये आदेश 25 नवम्बर, 2024 तक लागू रहेंगे। इस आदेश का उल्लंघन करनेवाले लोक प्रतिनिधित्व अधिनियम 1951 में प्रावधान के अनुसार व भारतीय न्याय संहिता 2023 की धारा 223 के प्रावधानों के तहत दंडात्मक कार्रवाई के लिए पात्र होंगे।

नमूना मतपत्रों की छपाई पर प्रतिबंधात्मक आदेश जारी
राजनीतिक दल, चुनाव लड़नेवाले उम्मीदवार, उनके प्रतिनिधि या उनके शुभचिंतक, प्रिंटिंग प्रेस के मालिक और अन्य सभी माध्यम द्वारा प्रिंटिंग करनेवाले मालिक, साथ ही प्रकाशक ने नमूना मतपत्र मुद्रित करते समय अन्य उम्मीदवार के नाम और उन्हें सौंपा गया चिन्ह, नमूना मतपत्र के लिए आयोग द्वारा निर्धारित कागज का उपयोग और आयोग द्वारा निर्धारित कागज के आकार में नमूने मतपत्रों की छपाई पर प्रतिबंध लगा दिया गया है। यह आदेश जिलधिकारी तथा जिल्हादंडाधिकारी डॉ. सुहास दिवसे द्वारा जारी किया गया है। ये आदेश 25 नवंबर 2024 तक लागू रहेंगे। इस आदेश का उल्लंघन करने पर संबंधित लोक प्रतिनिधित्व अधिनियम 1951 में प्रावधान के अनुसार और भारतीय न्याय संहिता, 2023 की धारा 223 के प्रावधानों के तहत दंडात्मक कार्रवाई के लिए पात्र होंगे।

वाहनों पर कपड़े के बैनर, झंडे लगाने पर रोक
जिले में विधानसभा चुनाव के प्रचार अवधि के दौरान सभी राजनीतिक दल के उम्मीदवारों, चुनाव लड़नेवाले उम्मीदवारों और उनके कार्यकर्ताओं, शुभचिंतकों को चुनाव प्रचार के लिए उपयोग किए जानेवाले वाहनों पर पार्टी के बैनर, झंडे लगाने को जिलाधिकारी तथा जिलादंडाधिकारी डॉ. सुहास दिवसे ने प्रतिबंधात्मक आदेश जारी किए हैं।
इस आदेश के अनुसार चलते वाहनों पर पार्टी का प्रचार ध्वज वाहन के बाईं ओर विंड स्क्रीन ग्लास के सामने नहीं लगाया जाएगा; साथ ही यह वाहन की छत से 2 फीट से अधिक ऊंचा नहीं होना चाहिए। प्रचार के चलते वाहनों पर कपड़े का बैनर वाहन ड्राइवर की सीट के पीछे वाहन के बायीं और दायीं ओर लगाया जाना चाहिए, इसे किसी अन्य तरफ नहीं रखा जा सकता है।
चलती गाड़ियों पर प्रदर्शित किए जानेवाले पार्टी प्रचार ध्वज या कपड़े की तख्ती संबंधित पार्टी के जिला अध्यक्ष, उम्मीदवार और उम्मीदवार का चुनाव प्रतिनिधि चुनाव प्रचार के लिए चुनाव निर्णय अधिकारी से आधिकारिक अनुमति प्राप्त की गई उस वाहन के अलावा किसी अन्य वाहन पर प्रदर्शित नहीं की जाएगी।
ये आदेश 25 नवंबर 2024 तक लागू रहेंगे। इस आदेश का उल्लंघन करने पर संबंधित लोक प्रतिनिधित्व अधिनियम 1951 में प्रावधान के अनुसार और भारतीय न्याय संहिता, 2023 की धारा 223 के प्रावधानों के तहत दंडात्मक कार्रवाई के लिए पात्र होंगे।

चुनाव अवधि के दौरान लाउडस्पीकर के उपयोग को नियंत्रित करने के आदेश जारी
विधानसभा चुनाव प्रक्रिया के दौरान चुनाव प्रचार के लिए लाउडस्पीकर के उपयोग को नियंत्रण के बारे में आदेश जिलाधिकारी तथा जिला दंडाधिकारी डॉ. सुहास दिवसे द्वारा जारी किए गए हैं।
इस आदेश के अनुसार कोई भी व्यक्ति, संगठन पार्टी कार्यकर्ता को लाउडस्पीकर का इस्तेमाल पुलिस अधिकारी की अनुमति के बिना इस्तेमाल नहीं कर सकते हैं। सुबह 6 बजे से पहले और रात 10 बजे के बाद किसी भी चलते वाहन और किसी भी क्षेत्र में लाउडस्पीकर का इस्तेमाल नहीं किया जाएगा, साथ ही चुनाव प्रचार के लिए लाउडस्पीकर का प्रयोग केवल निश्चित स्थानों पर रुककर ही किया जाए, वाहन चलते समय लाउडस्पीकर का उपयोग प्रतिबंधित रहेगा।
सभी राजनीतिक दलों, उम्मीदवारों और अन्य व्यक्तियों ने एक निश्चित स्थान पर लाउडस्पीकर के उपयोग के संबंध में अनुमति की जानकारी जिलादंडाधिकारी, संबंधित चुनाव निर्णय अधिकारी और संबंधित प्रणाली को सूचित करना अनिवार्य कर दिया गया है। ये आदेश 25 नवंबर 2024 तक पुणे जिले में लागू रहेंगे। आदेश का उल्लंघन करने पर लोकप्रतिनिधित्व अधिनियम 1951 में प्रावधान के अनुसार और भारतीय न्याय संहिता, 2023 की धारा 223 के प्रावधानों के तहत दंडात्मक कार्रवाई के लिए पात्र होंगे।

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