ग्रामीण विकास मंत्रालय और सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम मंत्रालय ने स्वयं सहायता समूह महिला उद्यमों को बढ़ावा देने के लिए हाथ मिलाया
केंद्रीय ग्रामीण विकास मंत्रालय (एमओआरडी) और केंद्रीय सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम (एमएसएमई) मंत्रालय ने आज एक संपूर्ण सरकार दृष्टिकोण पर चलते हुए एमएसएमई मंत्रालय की प्रमुख योजनाओं के जरिए स्वयं सहायता समूह (एसएचजी), महिलाओं के नेतृत्व वाले ग्रामीण उद्यमों को औपचारिक रूप देने और सुदृढ़ करने में सहयोग करने हेतु एक आशय पत्र पर हस्ताक्षर किए।
ग्रामीण विकास मंत्रालय की संयुक्त सचिव सुश्री स्वाति शर्मा और सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम मंत्रालय की संयुक्त सचिव सुश्री मर्सी एपाओ ने नई दिल्ली के कृषि भवन में इस आशय पत्र पर हस्ताक्षर किए। इस दौरान एमओआरडी के सचिव श्री शैलेश कुमार सिंह, एमएसएमई मंत्रालय के सचिव श्री एससीएल दास, एमओआरडी के अतिरिक्त सचिव श्री चरणजीत सिंह, दोनों मंत्रालयों के वरिष्ठ अधिकारियों की उपस्थिति रही।
इस अवसर पर बोलते हुए सुश्री स्वाति शर्मा ने जोर देकर कहा कि एमएसएमई मंत्रालय और ग्रामीण विकास मंत्रालय के बीच इस आशय पत्र पर हस्ताक्षर करना सरकार के संपूर्ण दृष्टिकोण को दिखलाता है।
उन्होंने बताया कि ये सहयोग प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के विज़न के अनुसार लखपति दीदियों के सशक्तिकरण में सहायक होगा। इस अवसर पर बोलते हुए सुश्री मर्सी एपाओ ने कहा कि ये आशय पत्र दोनों मंत्रालयों के बीच साझेदारी को सुदृढ़ करेगा, जिससे उद्यमिता में एसएचजी दीदियों को समर्थन और बढ़ावा दिया जा सकेगा। इससे एमएसएमई मंत्रालय की यशस्विनी – अपना उद्यम, अपनी पहचान, उद्यम सहायता जैसी प्रमुख पहलों का लाभ उठाया जा सकेगा।
ग्रामीण विकास मंत्रालय की सचिव और एमएसएमई मंत्रालय की सचिव दोनों ने इस सहयोग की सराहना की और इस आशय पत्र के अनुरूप विभिन्न सहयोगी कदम उठाने के लिए प्रतिबद्धता जताई।
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