अंतर्राष्ट्रीय तटीय सफाई दिवस: महाराष्ट्र के राज्यपाल, मुख्यमंत्री और केंद्रीय पर्यावरण, वन और जलवायु परिवर्तन मंत्री ने मुंबई में समुद्र तट सफाई अभियान में भाग लिया
अंतर्राष्ट्रीय तटीय सफाई दिवस: महाराष्ट्र के राज्यपाल, मुख्यमंत्री और केंद्रीय पर्यावरण, वन और जलवायु परिवर्तन मंत्री ने मुंबई में समुद्र तट सफाई अभियान में भाग लिया
पर्यावरण मंत्री भूपेन्द्र यादव ने अपशिष्ट पुनर्चक्रण में स्टार्टअप को समर्थन देने के लिए दिशानिर्देशों की घोषणा की
मुंबई के जुहू में एक मेगा समुद्र तट सफाई अभियान के साथ अंतर्राष्ट्रीय तटीय सफाई दिवस मनाया
“एक स्वच्छ और हरित ग्रह बनाने के मकसद से युवाओं के नेतृत्व वाले रीसाइक्लिंग स्टार्टअप के लिए पर्यावरण और जलवायु परिवर्तन मंत्रालय, एकमुश्त वित्तीय सहायता प्रदान करेगा,” केंद्रीय पर्यावरण वन और जलवायु परिवर्तन मंत्री भूपेन्द्र यादव ने आज मुंबई के जुहू में समुद्र तट सफाई अभियान में भाग लेते हुए, रीसाइक्लिंग की स्थापना के लिए एकमुश्त वित्तीय सहायता के लिए दिशानिर्देशों की घोषणा की। अंतर्राष्ट्रीय तटीय सफाई दिवस- 21 सितंबर 2024 के अवसर पर, केंद्रीय पर्यावरण, वन और जलवायु परिवर्तन मंत्रालय (एमओईएफसीसी) ने पृथ्वी विज्ञान मंत्रालय और महाराष्ट्र सरकार के साथ साझेदारी करते हुए जुहू तट पर एक विशाल तट सफाई अभियान का आयोजन किया।
श्री यादव ने इस दौरान ज़िक्र किया कि संसाधन उपयोग की हमारी समझ के बावजूद अक्सर हम इंसान, स्वच्छता के महत्व को भूल जाते हैं। उन्होंने कहा, “जबकि प्रकृति उदारतापूर्वक हमें शुद्ध संसाधन प्रदान करती है, हम पृथ्वी को वापसी में अक्सर अपशिष्ट से भरी चीजें देते हैं।”
उन्होंने पर्यावरण को बचाने के लिए कई कदम उठाए जाने की ज़रुरत के बारे में भी बताया, जिनमें जल संरक्षण, ठोस अपशिष्ट को कम करने वाली प्रौद्योगिकियों को बढ़ावा देना, रचनात्मक अपशिष्ट निष्पादन, अपशिष्ट प्रबंधन के लिए नवीन तरीकों को प्रोत्साहित करना, स्वस्थ जीवन शैली को बढ़ावा देना, एकल-प्रयोग वाली प्लास्टिक पर प्रतिबंध और खाद्य अपशिष्ट में कमी लाना शामिल हैं।
श्री यादव ने नागरिकों को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से प्रेरित होते हुए “एक पेड़ मां के नाम” पहल में शामिल होने के लिए भी प्रोत्साहित किया। उन्होंने कहा, “पेड़ लगाकर हम जीवन के पोषण में अपनी माताओं की दोहरी भूमिका को पहचानते हुए, धरती माता के प्रति अपना आभार व्यक्त करते हैं।”
उन्होंने यह भी कहा कि सरकार और मंत्रालय मुंबई के समुद्र तटों को साफ करने का वादा करते हुए कार्रवाई योग्य कदम उठाने के लिए प्रतिबद्ध है।
प्रतिभागियों को संबोधित करते हुए महाराष्ट्र के राज्यपाल श्री सी. पी. राधाकृष्णन ने कहा कि महज़ एक दिन के लिए कार्रवाई करना पर्याप्त नहीं है। यह पहल पूरे वर्ष की जानी चाहिए और हर साल दोहराई जानी चाहिए, क्योंकि छोटी शुरुआत से महत्वपूर्ण परिवर्तन हो सकते हैं। उन्होंने कहा, “युवा लोगों को इन प्रयासों में शामिल करके, हम “स्वच्छ मुंबई, हरित मुंबई” और अंततः “स्वच्छ भारत, हरित भारत” की दिशा में काम कर रहे हैं।
महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री श्री एकनाथ शिंदे ने राज्य की 720 किमी लंबी तटरेखा और उसके द्वारा पर्यटन को बढ़ावा देने की क्षमता पर प्रकाश डालते हुए, स्वच्छता को एक सेवा के रूप में करने के महत्व पर जोर दिया। उन्होंने 17 सितंबर को गिरगांव चौपाटी पर शुरू किए गए स्वच्छता अभियान में नागरिकों की भागीदारी पर संतोष व्यक्त किया, जो 2 अक्टूबर तक जारी रहेगा।
यह तट स्वच्छता अभियान, तटीय राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में 100 से अधिक अन्य समुद्र तटों के पास चलाया जाता है। इस वर्ष, स्वच्छता अभियान की थीम “स्वभाव स्वच्छता – संस्कार स्वच्छता” है, जो स्वच्छ समुद्र तटों और समुद्री पारिस्थितिकी व्यवस्था को बनाए रखने के लिए प्राकृतिक स्वच्छता और सांस्कृतिक जिम्मेदारी के महत्व पर जोर देती है।
ड्राइव के दौरान प्रतिभागियों ने “आई एम सेविंग माई बीच” की शपथ ली और स्वच्छता के लिए प्रतिबद्धता जताई। यह सांप्रदायिक प्रयास प्रधानमंत्री द्वारा शुरू किए गए व्यापक राष्ट्रीय अभियान के अनुरूप है, जिन्होंने स्वच्छता को राष्ट्रीय प्राथमिकता बनाने का आह्वान किया है। प्रतिभागियों ने मानव श्रृंखला भी बनाई और समुद्र तट की प्रत्यक्ष सफाई के प्रयासों में सक्रिय रूप से भाग लिया।
कार्यक्रम में पर्यावरण एवं जलवायु परिवर्तन विभाग के प्रधान सचिव श्री प्रवीण दाराडे ने स्वागत भाषण दिया।
पर्यावरण, वन और जलवायु परिवर्तन मंत्रालय में विशेष सचिव श्री तन्मय कुमार और महाराष्ट्र सरकार में ग्रेटर मुंबई नगर निगम के नगर आयुक्त श्री भूषण गगरानी ने भी कार्यक्रम को संबोधित किया।
पृष्ठभूमि
अपनी स्थापना के बाद से, समुद्र तट सफाई अभियान ने कई उल्लेखनीय उपलब्धियों के साथ रफ्तार पकड़ी है। एमओईएफसीसी ने वर्ष 2018 में विश्व पर्यावरण दिवस के मौके पर #IAM SAVING MY BEACH अभियान शुरू किया था, जो पूरे देश में सफाई गतिविधियों की एक नियमित श्रृंखला के रुप में विकसित हुआ। वर्ष 2022 में, “स्वच्छ सागर, सुरक्षित सागर” के बैनर तले चले अभियान में 15,000 से अधिक स्वयंसेवकों की भागीदारी देखी गई, जिन्होंने 75 समुद्र तटों से 1,500 टन से अधिक कचरा एकत्र किया।
पिछले साल, जी20 की अध्यक्षता के दौरान, एक जनभागीदारी आंदोलन ने सामुदायिक जुड़ाव को और बढ़ाया, जिसमें 14 जी20 देशों और विभिन्न आमंत्रित देशों की भागीदारी देखी गई। इस सामूहिक प्रयास के परिणामस्वरूप, विश्व स्तर पर 55 से अधिक समुद्र तटों की सफाई हुई, जो पर्यावरण संरक्षण की दिशा में अंतर्राष्ट्रीय सहयोग की शक्ति को प्रदर्शित करता है।
अंतर्राष्ट्रीय तटीय सफाई दिवस, न सिर्फ एक सफाई अभियान के रूप में, बल्कि एक महत्वपूर्ण शैक्षिक मंच के तौर पर भी कार्य करता है। यह समुद्री कूड़े के प्रभाव और हमारे महासागरों के संरक्षण के महत्व के बारे में जागरूकता बढ़ाता है। इस वर्ष के अभियान में हस्ताक्षर अभियान, वृक्षारोपण और जागरूकता प्रदर्शन जैसी मुख्य गतिविधियाँ शामिल रहीं, जिनका मकसद एक ऐसी जीवन शैली के लिए प्रेरित करना है, जिसमें प्लास्टिक का प्रयोग कम हो और जो सतत़ प्रथाओं को बढ़ावा देती हो। एक केंद्रीकृत डेटाबेस इन उपलब्धियों को ट्रैक करेगा, पारदर्शिता सुनिश्चित करेगा और सामुदायिक भागीदारी को लगातार प्रोत्साहित करेगा।
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