भारत के भविष्य की रीढ़ हैं छात्र : राज्यपाल

भारत के भविष्य की रीढ़ हैं छात्र : राज्यपाल
लोणीकालभोर, सितंबर (हड़पसर एक्सप्रेस न्यूज नेटवर्क)
छात्र भारत के भविष्य की रीढ़ हैं और उन्हें शारीरिक और मानसिक रूप से सशक्त बनकर अपने लक्ष्यों की ओर बढ़ना चाहिए। छात्र अपने काम एवं सिद्धांतों पर अडिग रहते हैं तो वे निश्चित रूप से किसी भी क्षेत्र में सफलता प्राप्त करेंगे। आध्यात्मिकता व सांस्कृतिक प्रगति जीवन के महत्वपूर्ण पहलू है, एमआईटी एडीटी विश्वविद्यालय की शिक्षा प्रणाली का अभिन्न हिस्सा है। यह विचार महाराष्ट्र के राज्यपाल सी.पी. राधाकृष्णन ने व्यक्त किए।
महाराष्ट्र के राज्यपाल सी.पी. राधाकृष्णन ने एमआईटी यूनिवर्सिटी ऑफ आर्ट, डिजाइन एंड टेक्नोलॉजी, विश्वराजबाग, पुणे के 7वें दीक्षांत समारोह के अवसर पर छात्रों से अपनी रुचि के क्षेत्र में कैरियर बनाने की प्रेरणा दी। इस अवसर पर माईर्स एमआईटी इंस्टीट्यूट ऑफ एजूकेशन के संस्थापक अध्यक्ष प्रो.डॉ. विश्वनाथ दा. कराड, प्रख्यात वैज्ञानिक इसरो व यू.आर. राव उप-केंद्र बेंगलुरु के निदेशक डॉ.एम. शंकरन, एमआईटी एडीटी विश्वविद्यालय के कुलपति व कार्यकारी अध्यक्ष प्रो.डॉ. मंगेश कराड, कार्यकारी निदेशक प्रो.डॉ. सुनीता कराड, श्रीमती ज्योति ढाकणे-कराड, डॉ. विनायक घैसास, डॉ.सुचित्रा नागरे, उपकुलपति डॉ. रामचन्द्र पुजेरी, डॉ. अनंत चक्रदेव, रजिस्ट्रार डॉ. महेश चोपड़े, परीक्षा नियंत्रक डॉ. ज्ञानदेव नीलवर्ण और अन्य गणमान्य उपस्थित थे।
प्रो. डॉ. मंगेश कराड ने कहा कि इस वर्ष का दीक्षांत समारोह विशेष रूप से गौरव का विषय है। एमआईटी एडीटी ने परीक्षाओं के लिए पूरी तरह से डिजिटल प्रणाली अपनाई है, जिससे परिणाम समय पर और पारदर्शी तरीके से घोषित किए जा रहे हैं।
समारोह में कुल 2972 छात्रों को डिग्री प्रदान की गई, जिसमें 22 पीएचडी, 53 स्वर्ण पदक और 194 रैंक होल्डर शामिल थे। समारोह का आकर्षण पारंपरिक जुलूस रहा, जिसमें राजदंड के साथ छात्रों ने भाग लिया।
एम. शंकरन ने कहा कि छात्र की सफलता में संस्थान की भूमिका अहम है। विद्यार्थियों को अपनी संस्कृति पर स्वाभिमान करते हुए देश का नाम ऊंचा करने का प्रयास करना चाहिए। हमारे देश की प्रतिभाशाली युवा पीढ़ी के कंधों पर डॉ. कलाम द्वारा दिखाए गए उन्नत देश के सपने को पूरा करने की जिम्मेदारी है।
एमआईटी एडीटी अच्छे छात्र निर्माण करने के साथ एक मूल्यवान इंसान निर्माण करने का प्रयास करता है जो आध्यात्मिकता और प्रौद्योगिकी के माध्यम से भारत के लिए एक उज्ज्वल भविष्य बनाने का प्रयास करता है। आज स्नातक होनेवाले सभी विद्यार्थियों से अपील करता हूं कि वे भारत के उज्ज्वल भविष्य के लिए अपना बहुमूल्य योगदान दें।
– प्रो.डॉ.विश्वनाथ दा. कराड
संस्थापक अध्यक्ष – माईर्स एमआईटी एजूकेशन ग्रुप, भारत