भारत ने यूरोपीय मुक्त व्यापार संघ के साथ व्यापार समझौते पर हस्ताक्षर किए

भारत ने यूरोपीय मुक्त व्यापार संघ के साथ व्यापार समझौते पर हस्ताक्षर किए

भारत ने आज नई दिल्‍ली में यूरोपीय मुक्‍त व्‍यापार संघ के साथ व्‍यापार और आर्थिक भागीदारी समझौते पर हस्‍ताक्षर किए। भारत कुछ समय से यूरोपीय मुक्‍त व्‍यापार संघ के सदस्‍य देशों स्‍विट्जरलैंड, आइसलैंड, नार्वे और लिकटेंस्टाइन के साथ व्‍यापार और आर्थिक भागीदारी समझौते के लिए प्रयास कर रहा था।

इस अवसर पर वाणिज्‍य और उद्योग मंत्री पीयूष गोयल ने कहा कि व्‍यापार और आर्थिक भागीदारी समझौता आधुनिक और महत्‍वाकांक्षी व्‍यापार समझौता है। उन्‍होंने कहा कि पहली बार भारत यूरोप के महत्‍वपूर्ण चार विकसित राष्‍ट्रों के साथ मुक्‍त व्‍यापार समझौता कर रहा है। श्री गोयल ने कहा कि मुक्‍त व्‍यापार समझौतों के इतिहास में पहली बार अगले 15 वर्षो में एक सौ अरब डॉलर के निवेश और 10 लाख रोजगार देने के बाध्‍यकारी प्रतिबद्धता समझौते हुए हैं। उन्‍होंने कहा कि इस समझौते से मेक इन इंडिया कार्यक्रम को बढावा मिलेगा तथा युवा और प्रतिभाशाली कार्यबल को अवसर मिलेंगे। मुक्‍त व्‍यापार समझौते से भारतीय निर्यातकों को यूरोपीय और वैश्‍विक बाजारों तक पहुंच प्राप्‍त होगी। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने इसे महत्वपूर्ण समझौता बताया है।

यूरोपीय मुक्‍त व्‍यापार संघ एक महत्‍वपूर्ण क्षेत्रीय संगठन है जिसके माध्‍यम से वस्‍तु और सेवाओं के अंतर्राष्‍ट्रीय व्‍यापार को बढाने के लिए विभिन्‍न अवसर प्राप्‍त होते हैं। यूरोपीय मुक्‍त व्‍यापार संघ के सदस्‍य देशों में से स्विट्जरलैंड भारत का सबसे बडा और नार्वे दूसरा सबसे बडा व्‍यापारिक साझेदार है।

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